विनोद कांबली: 1990 के दशक का दिग्गज बल्लेबाज
जी हां, आज हम बात करेंगे 1990 के दशक के भारतीय बल्लेबाज विनोद गणपत कांबली के बारे में।
भारतीय क्रिकेट में एक ऐसा बल्लेबाज भी आया, जिसका औसत सर डॉन ब्रैडमैन से भी अधिक था।
परिचय : विनोद गणपत कांबली ( जन्म 18 जनवरी 1972 , मुंबई, महाराष्ट्र) पूर्व भारतीय खिलाड़ी जो भारत के बाएं हाथ के बल्लेबाज और मुम्बई और बोलेंड, साउथ अफ्रीका के लिए खेलते थे।
विनोद कांबली: प्रतिभाशाली भारतीय बल्लेबाज की चुनौतीपूर्ण यात्रा
भारतीय क्रिकेट के बेहद प्रतिभाशाली बल्लेबाजों में से एक, विनोद कांबली, इन दिनों सुर्खियों में हैं, लेकिन उनके नाम के पीछे एक संघर्षपूर्ण कहानी छुपी हुई है। हाल ही में मुंबई में रमाकांत आचरेकर स्मृति समारोह के दौरान उनकी सचिन तेंदुलकर से मुलाकात का वीडियो वायरल हुआ। इस वीडियो में कांबली की शारीरिक स्थिति कमजोर दिखी, जिससे उनके स्वास्थ्य और आर्थिक समस्याओं को लेकर चर्चा फिर शुरू हो गई।
कांबली का करियर और गिरावट
कांबली ने अपने करियर की शुरुआत धमाकेदार अंदाज में की। उन्होंने भारत के लिए 17 टेस्ट मैचों में 54.20 की औसत से 1084 रन बनाए, जिसमें चार शतक शामिल हैं। वनडे में भी उन्होंने 104 मैचों में 2477 रन बनाए। अपने समय में उनकी तुलना सचिन तेंदुलकर से होती थी, लेकिन गलत निर्णय, फिटनेस समस्याओं और निजी चुनौतियों के कारण उनका करियर जल्द ही खत्म हो गया।
आर्थिक और स्वास्थ्य समस्याएं
कांबली ने कुछ समय पहले खुलासा किया कि वे गंभीर आर्थिक तंगी का सामना कर रहे हैं। उनकी आय का बड़ा हिस्सा बीसीसीआई से मिलने वाली पेंशन है, जो केवल 30,000 रुपये मासिक है। वे मेंटर के रूप में काम करना चाहते थे, लेकिन उनके पास साधन और स्वास्थ्य की कमी एक बड़ी बाधा रही। इसके अलावा, उनकी कमजोर शारीरिक स्थिति ने फैंस और मीडिया का ध्यान आकर्षित किया ।
सचिन और कांबली की दोस्ती
कांबली और तेंदुलकर की दोस्ती बचपन से ही प्रसिद्ध रही है। दोनों ने 1988 में हैरिस शील्ड टूर्नामेंट में 664 रनों की साझेदारी की थी। हाल की मुलाकात में कांबली ने सचिन का हाथ पकड़ा और इसे भावुक पल बताते हुए छोड़ा नहीं। इस मुलाकात ने उनके प्रशंसकों को पुराने दिनों की याद दिलाई और उनकी मौजूदा स्थिति पर चिंता जताई।
Old is gold